May 4, 2024

जे.सी. बोस विश्वविद्यालय में रेडियो के इतिहास पर कार्यक्रम आयोजित

Faridabad/Alive News: चैपालों और खेलों की लाइव कमेंट्री से लेकर कार में सफर करते हुए रेडियो ने अपने सफर में अहसासों को जिया है। रेडियो विविध भारती के जयमाला से एफएम चैनल के यादों का इडियट बॉक्स तक संवेदनाओं से भरा है। यह विचार रेडियो महारानी की वरिष्ठ प्रबंधक सपना सूरी ने जे.सी. बोस विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, वाईएमसीए, फरीदाबाद ने दो दिवसीय रेडियो उत्सव ’रेडियो फीएस्टा’ के समापन सत्र में बतौर विशिष्ट अतिथि व्यक्त किये।

विश्वविद्यालय द्वारा अंतरराष्ट्रीय डिजिटल रेडियो – रेडियो महारानी के साथ मिलकर ‘विश्व रेडियो दिवस’ के उपलक्ष्य में 10 एवं 11 फरवरी को दो दिवसीय रेडियो उत्सव ’रेडियो फीएस्टा’ का आयोजन किया गया। मीडिया विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए सपना सूरी ने कहा कि सामाजिक सशक्तिकरण, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और शिक्षा के प्रचार प्रसार में रेडियो की अहम भूमिका रही है। विभिन्न सामाजिक क्षेत्रों में रेडियो के महत्व को समझने के लिए ‘विश्व रेडियो दिवस’ का आयोजन किया जाता है।

इस कार्यक्रम में डीन इंस्टीट्यूशन्स प्रो. तिलक राज मुख्यातिथि रहे। प्रो तिलकराज ने कहा कि रेडियो की शुरुआत जनसेवा प्रसारण से हुई और यह एफएम से होते हुए डिजिटल रेडियो और पॉड्कास्ट तक पहुँचा है। रेडियो सूचनाओं के आदान प्रदान, नेटवर्किंग और अंतरराष्ट्रीय सहयोग के लिए प्रोत्साहित करता है। कार्यक्रम ने रेडियो महारानी के आरजे आनंद ने जहाँ अपनी रेडियो जाॅकिंग कला से समाँ बांधा, वही आरजे गौरव ने रेडियो प्रोग्रैमिंग से सम्बंधित रोचक जानकारियाँ मीडिया विद्यार्थियों के साथ सांझी की।

कार्यक्रम के अंत में लिबरल आर्ट्स एंड मीडिया स्टडीज के डीन प्रो. अतुल मिश्रा ने अतिथियों का साधुवाद किया तथा इस अवसर पर आयोजित प्रतियोगिता के विजेताओं को बधाई दी। मीडिया विद्यार्थियों के लिए इस क्षेत्र में विशेष अवसर है और विद्यार्थियों को इसके लिए प्रयास करने चाहिए। कार्यक्रम में रेडियो महारानी की ओर से अमित भाटिया और आलोक अरोड़ा उपस्थित रहे।