April 25, 2024

कच्चे दूध की तरह, पाउडर वाले दूध में भी होते है पोषक तत्व

New Delhi/Alive News : पाउडर वाले दूध का जिक्र होते ही, पुरानी यादें वापस आ जाती है. जब टिन के डिब्बे से सीधे एक चम्मच निकालकर खा लेते थे, और घंटों उसका टेस्ट ज़ुबान पर रहता था. रेल के सफर में जब हम बच्चों की तरह चाय-टाइम का इंतजार करते थे, क्योंकि ड्रिंक्स के साथ वही दूध वाले पाउडर के छोटे पाउच जो आते थे.

कई लोग कच्चे दूध के शौकिन नहीं होते, लेकिन अगर दूध वाला पाउडर खाने की आदत पड़ जाए, तो उसे छोड़ना मुश्किल है. अचानक से मीठा खाने की ललक को इस मिल्क पाउडर से ही शांत किया जा सकता है. लेकिन इससे कहीं ज़्यादा, इसका इस्तेमाल दूध की जरूरत को आसानी से और जल्दी पूरा करने वाले विकल्प के रूप में किया जाता है. इसे प्रयोग करने से पहले उबालने का कोई झंझट नहीं है और न ही इसे खराब होने से बचाने के लिए फ्रिज में रखने की जरूरत है. बस, एक ग्लास गर्म पानी में एक बड़ा चम्मच मिल्क पाउडर डालें और अच्छे से मिलाएं. आपका दूध बनकर तैयार है.

आज के समय में यह लगभग सभी घरों की जरूरत बन चुका है. चाय और कॉफी के लिए वाइटनर से लेकर खाने में सामग्री की तरह इसका उपयोग किया जा रहा है. इसे स्टोर करना आसान है. यही नहीं, इसमें कई पोषक तत्व होते हैं.

मिल्क पाउडर क्या है?
कच्चे दूध में 87.3 प्रतिशत पानी होता है, 3.9 प्रतिशत मिल्क फैट और 8.8 प्रतिशत नॉन-फैट दूध (प्रोटीन, मिल्क, चीनी, मिनरल्स आदि). मिल्क पाउडर प्राप्त करने के लिए, कच्चे दूध को सुखाया जाता है, जब तक दूध की नमी शून्य नहीं हो जाती. संक्षिप्त में यह कहा जा सकता है कि मिल्क पाउडर सूखा हुआ दूध होता है, जिसे दूध को गाढ़ा करके बनाया जाता है. दूध को सुखाने की प्रक्रिया के दौरान, नियंत्रित तापमान के अंदर दूध को पैस्चराइज्ड (खमीर न उठने वाली प्रक्रिया) किया जाता है, ताकि बैक्टीरिया की वृद्धि को खत्म किया जा सके.

कच्चे दूध की तरह, पाउडर वाले दूध में बहुत से पोषक तत्व होते हैं, जो जरूरी मिनरल्स का अच्छा स्रोत हैं और विटामिन जैसे- मैग्नीशियम, कैल्शियम, जिंक, पोटेशीयम और विटामिन-ए, डी, ई और के भी होते हैं. दूध को सुखाने की प्रक्रिया के दौरान, यह सुनिश्चित किया जाता है कि सभी जरूरी पोषक तत्व दूध में मौजूद रहें. मिल्क पाउडर में आपकी जरूरी पोषक तत्वों की दैनिक खुराक होती है जैसे- अमीनो एसिड और एंटी-ऑक्सीडेंट.

क्या पाउडर मिल्क को रेगुलर मिल्क की जगह दी जा सकती है?
पाउडर मिल्क को रेगुलर मिल्क की जगह इस्तेमाल किया जा सकता है. हालांकि, पाउडर वाले दूध की ओर रुख करने से पहले कुछ चीजों का ध्यान रखना जरूरी है.
रेगुलर मिल्क की तरह पाउडर मिल्क में भी उतने ही पोषक तत्व होते हैं. लेकिन, फ्लेवर, खुशबू और कुछ जरूरी पोषक तत्व जैसे फॉस्फोरस, सेलीनियम और बी-कॉम्पलेक्स विटामिन आदि के मामले में पाउडर मिल्क रेगुलर मिल्क से थोड़ा ज़्यादा अंक प्राप्त करता है. अगर आप पाउडर वाला दूध लेने का प्लान बना रहे हैं, तो यह सुनिश्चित कर लें कि यह जरूरी मिनरल्स और पोषक तत्वों से भरपूर हो.
दिल्ली की न्यूट्रिशनिस्ट और वेट एक्सपर्ट, डॉ. गार्गी शर्मा ने पाउडर मिल्क की खपत को लेकर आने वाली एक असुविधा के बारे में बताया. उन्होंने बताया कि,कई बार लोग पाउडर की मात्रा और पानी में संतुलन बनाने में असमर्थ होते हैं. इससे दूध में पोषक तत्वों की कमी हो जाती है और पाउडर के रूप में दूध का सेवन करते समय पोषक तत्वों के साथ समझौता करना पड़ सकता है. एक न्यूट्रीशनिस्ट होने के नाते वह पाउडर मिल्क को लंबे समय तक न इस्तेमाल करने की सलाह देती हैं. इसे किसी एक सिंगल खाने की जगह उपयोग नहीं किया जा सकता”.
हालांकि, मैक्स हेल्थकेयर हॉस्पिटल, साकेत की डॉ. रीतिका समद्दार ने तथ्यों पर जोर देते हुए कहा कि,“पैक के पीछे की तरफ लिखा होता है कि पोषक तत्वों का फायदा उठाने के लिए कितने पानी के साथ पाउडर की कितनी मात्रा इस्तेमाल की जाएगी। अगर कोई इन निर्देशों के अनुसार ही पाउडर का उपयोग करता है, तो इसका सेवन भी रेगुलर मिल्क की तरह ही सेहत के लिए अच्छा हो सकता है.” उपभोक्ताओं को चेतावनी देते हुए वह बताती हैं कि,“ भारत में कई मिल्क पाउडर में चीनी होती है, जिससे कैलोरी की मात्रा बढ़ जाती है और इसलिए यह डायबीटिज पीड़ितों के लिए सही नहीं है. मिल्क पाउडर खरीदते समय ध्यान दें कि उस पर शुगर होने की जानकारी दी गई है या नहीं. कई स्थितियों में पैक पर शुगर के बारे में कोई इंफोर्मेशन नहीं दी गई होती.
कुल मिलाकर, रेगुलर मिल्क की जगह पाउडर मिल्क का इस्तेमाल किया जा सकता है. जैसा कि ऊपर एक्सपर्ट ने भी कहा है, यह जरूरी है कि आप सही प्रॉडक्ट चुनें और उनके पीछे दिए गए निर्देशों के अनुसार ही उसका इस्तेमाल करें- यह अत्यंत महत्वपूर्ण है, ख़ासतौर से जब यह बच्चों को खिलाया जा रहा हो.”