Chandigarh/Alive News: हरियाणा सरकार 10वीं और 12वीं कक्षा के विद्यार्थियों को परीक्षा में अव्वल आने पर ही छात्रवृत्ति देगी और पहली से आठवीं तक के विद्यार्थियों को किताबें खरीदने के लिए 200 से 300 रुपये दिए जाएंगे। सरकार ने कोरोना के मद्देनजर अभी स्कूल बंद रखने का निर्णय लिया है। ऑनलाइन पढ़ाई ही जारी रहेगी। निजी स्कूलों की फीस वृद्धि के लिए फार्मूला बनाया जाएगा। रिजल्ट से असहमत छात्र कोरोना के हालात सामान्य होने पर परीक्षा दे सकते हैं। परीक्षा में अव्वल आने पर ही छात्रवृत्ति दी जाएगी।
दरअसल, शिक्षा मंत्री कंवर पाल ने मुख्यमंत्री के साथ बैठक के बाद जानकारी देते हुए बताया कि 10वीं कक्षा का परीक्षा परिणाम कोविड के कारण आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर घोषित किया जा चुका है। जिसमें कोई टॉपर नहीं है। 12वीं का परीक्षा परिणाम अभी घोषित होना है। उसे भी आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर ही घोषित किया जाएगा। आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर घोषित रिजल्ट में कोई टॉपर न होने पर सरकार इस बार छात्रवृत्ति नहीं देगी। रिजल्ट से असहमत छात्र कोरोना के हालात सामान्य होने पर परीक्षा दे सकते हैं।
विद्यार्थियों और अभिभावकों में अभी भी कोरोना का डर है। इसलिए स्कूल खोलने का जोखिम नहीं उठा सकते। निजी स्कूलों ने कोरोना के दौरान काफी फीस बढ़ाई है, जो गलत है। कई स्कूलों ने फीस दोगुनी कर दी है। उनके पास शिकायतें आई हैं। जिन पर उचित कार्रवाई की जाएगी। किताबें लेने के लिए राशि छात्रों के खाते में भेजेंगे। एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत भी विद्यार्थियों को पुस्तकें उपलब्ध करवाई जाएंगी। बड़ी कक्षाओं के बच्चों की किताबें छोटी क्लास के बच्चों को मिलेंगी। बड़ी कक्षाओं के बच्चों को मुफ्त किताबें मुहैया कराने के लिए 40 लाख का टेंडर किया है।