May 3, 2024

दिल्ली-एनसीआर के सभी राज्यों में अगले आदेश तक स्कूल-कॉलेज बंद

New Delhi/Alive News: वायु प्रदूषण से निपटने के लिए बड़ी कार्रवाई करते हुए केंद्र सरकार ने दिल्ली-एनसीआर के सभी राज्यों को 21 नवंबर तक अपने दफ्तरों में 50 प्रतिशत कर्मचारियों की उपस्थिति के साथ काम करने के लिए कहा है और अगले आदेश तक सभी स्कूल बंद रहेंगे। सुप्रीम कोर्ट की सख्ती के बाद वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने दिल्ली तथा उसके पड़ोसी राज्यों के साथ बैठक कर मंगलवार देर रात प्रदूषण से निपटने के आपात उपायों की घोषणा कर दी।

बैठक में उत्तर प्रदेश, दिल्ली, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान के शीर्ष अधिकारी शामिल हुए। एनसीआर के सभी राज्यों के मुख्य सचिवों को इन उपायों की निगरानी की जिम्मेदारी सौंपी गई है। एनसीआर के राज्यों के लिए बाध्यकारी फैसलों की घोषणा की। आयोग द्वारा लिए गए फैसले में उद्योगों, निर्माण गतिविधियों, वाहनों, धूल के प्रबंधन, वर्क फ्रॉम होम जैसे उपाय शामिल हैं। एनसीआर में आपातकालीन इस्तेमाल के अलावा डीजल जेनरेटरों के उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध के पूर्व के फैसले को सख्ती से लागू करने के लिए कहा गया है।

इसके अलावा, निजी क्षेत्र को भी इस बात के लिए प्रोत्साहित करने के लिए कहा गया है कि वो अपने यहां कम से कम 21 नवंबर तक 50 फीसदी कर्मियों को वर्क फ्रॉम होम की सुविधा दें। दिल्ली में हवा की स्थिति लगातार ‘बहुत बुरी’ श्रेणी में बनी हुई  है। सफर के मुताबिक आज सवेरे भी दिल्ली का एक्यूआई 379 दर्ज किया गया है। दिल्ली के 300 किमी के दायरे में आने वाले 11 तापीय बिजली संयंत्रों में से छह को 30 नवंबर तक बंद करने का आदेश दिया गया है। ये सभी संयंत्र कोयला आधारित हैं जिनका धुआं प्रदूषण फैलाने में बड़ी भूमिका निभाता है।

रेलवे, मेट्रो, एयरपोर्ट और राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े निर्माण को छोड़कर अन्य सभी निर्माण गतिविधियों को 21 नवंबर तक रोकने का आदेश दिया गया है। बड़े पैमाने पर एंटी स्मॉग गन और धूल सोखने वाले वाहनों के उपयोग और पानी के छिड़काव के भी निर्देश दिए गए हैं। दिल्ली में जरूरी चीजों की आपूर्ति को छोड़कर अन्य सभी ट्रकों का प्रवेश 21 नवंबर तक रोक दिया गया है। 10 साल से पुराने डीजल वाहन और 15 साल से पुराने पेट्रोल वाहनों पर सख्ती बढ़ाई जाएगी। प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों पर खास नजर रखी जाएगी। ट्रैफिक जाम न लगे, इसके लिए ज्यादा टीमें उतरेंगी।

बीते दो दिनों से बहुत खराब श्रेणी में चल रही है दिल्ली की हवा मंगलवार को खिसक कर गंभीर श्रेणी में पहुंच गई। इस बीच 141 शहरों की सूची में दिल्ली देश का तीसरा सबसे प्रदूषित शहर रहा है। पहले स्थान पर हरियाणा का जींद 428 व मानेसर 410 एक्यूआई के साथ दूसरे स्थान पर रहा। एनसीआर के अन्य शहरों में औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक में बढ़ोतरी हुई है।