Faridabad/Alive News : राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय एनएच तीन फरीदाबाद की जूनियर रेडक्रॉस, सैंट जॉन एंबुलेंस ब्रिगेड और गाइड्स ने प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा की अध्यक्षता में अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस पर वर्चुअल कार्यक्रम का आयोजन किया। प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस पर विद्यालय की प्राध्यापिकाओं और छात्राओं ने पौधे रोपे, उन की नराई गुड़ाई कर के उन की देखभाल करने का संकल्प भी लिया।
अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस 22 मई को मनाया जाता है। जैव विविधता के मुद्दों के बारे में जागरूकता बढ़ाने और जागरूकता पैदा करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस मनाया जाता है। इस वर्ष इस दिवस की थीम समाधान का हिस्सा हैं। इसे थीम के रूप में चुनने के पीछे का विचार इस तथ्य की ओर लोगों का ध्यान आकर्षित करना है कि जैव विविधता एक महत्वपूर्ण समस्या सतत विकास चुनौतियों की संख्या का उत्तर है। ब्रिगेड और जूनियर रेडक्रॉस प्रभारी प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने कहा कि जैव विविधता के संरक्षण और पुनर्निर्माण से मानव जाति को जलवायु परिवर्तन और स्वास्थ्य के मुद्दों जैसी गंभीर चीजों का समाधान खोजने में मदद मिल सकती है।
द सेक्रेटिएट ऑफ कंवेंशन ऑन बायोडायवर्सिटी के लिए वर्ष 2021 में जैव विविधता दिवस की थीम प्रकृति के लिए समाधान का हिस्सा है। इस थीम के अंतर्गत हमें जलवायु परिवर्तन, स्वास्थ्य, खाद्य व जल सुरक्षा सहित सतत विकास के क्षेत्र में काम करना है। जैविक विविधता में विभिन्न प्रजातियों के पौधे, जानवर और सूक्ष्मजीव शामिल हैं जिनमें प्रत्येक प्रजाति के भीतर आनुवंशिक अंतर शामिल हैं, जैसे, फसलों की किस्मों और पशुओं की नस्लें आदि। इस दिन वैश्विक समुदाय से आह्वान किया जाता है कि हम प्राकृतिक दुनिया के प्रति अपने संबंधों को फिर से समर्पित करें। क्योंकि हम अपनी दवाओं, कपड़ों, पानी, भोजन, ईंधन, आश्रय और ऊर्जा के लिए पूरी तरह से स्वस्थ और जीवंत पारिस्थितिक तंत्र पर निर्भर हैं।
विभिन्न अवसरों में वृहद पौधरोपण करने से जैव विविधता बढ़ाने में सहायता मिलती है प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने कहा कि धरा पर सभी जंतुओं और पौधों के बीच के संतुलन को बनाए रखने के लिए जैव-विविधता संरक्षण जरूरी है। पृथ्वी पर पाए जाने वाले सभी जंतुओं, पेड़-पौधों, सूक्ष्म जीवों की जातियों, प्रजातियों और किस्मों का आधार जैव विविधता है। जैव विविधता का तात्पर्य विभिन्न प्रकार के जीव-जंतु और पेड़-पौधों का अस्तित्व बनाए रखने से है। इसकी कमी से बाढ़, सूखा और तूफान जैसी प्राकृतिक आपदा का खतरा बढ़ रहा है। पिछले ही वर्ष दो महीने के लाकडाउन में लोगों ने तेजी से संतुलित होते पर्यावरण को देखा और महसूस किया। इस दौरान हवा की गुणवत्ता सुधरी, वातावरण साफ हुआ और जैव विविधता कायम करने की आदर्श स्थिति उत्पन्न हुई। आज अध्यापिका जसनीत कौर, निशा, नेहा, राधा गुप्ता, हर्शिता, कोमल, नूरजहां, स्नेहा, ताबिंदा, भूमिका, आरती और प्रीति कुमारी ने पौधे लगाकर इन की देखभाल करने की अपील की। प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने सभी जेआरसी सदस्यों और अध्यापकों का ई कार्यक्रम में सम्मिलित होने और जैव विविधता के प्रति गंभीर होने के लिए उनकी सराहना की।