Nuh/Alive News : कला और आस्था का संगम तीन दिवसीय गीता जयंती महोत्सव का शनिवार को देर सायं समापन हो गया। जिसमें भाजपा नूंह के जिला प्रभारी दिवानचंद यादव ने मुख्यातिथि के रुप शिरकत की। इस अवसर पर जिला प्रभारी दिवानचंद यादव व उपायुक्त मनीराम शर्मा ने समारोह में भाग लेने वाले कलाकारों व बच्चों को पुरस्कार वितरित किए। सूचना एवं जनसंपर्क एवं भाषा विभाग हरियाणा से आए कलाकारों व स्कूली बच्चों ने इस कार्यक्रम में रंगा-रंग सांस्कृतिक कार्यक्रम की प्रस्तुती दी तथा लोगों का मन मौह लिया। इस अवसर पर जिला प्रभारी दिवानचंद यादव ने दीप प्रज्वलित कर जिला स्तरीय कार्यक्रम का समापन किया। उन्होंनें कहा कि गीता सम्पूर्ण भारत दर्शन का निचौड है। गीता जीने का ढंग सीखाती है। उन्होंने कहा कि पढऩे वाला जिस भाव को लेकर पढ़ता है वही भाव गीता ग्रन्थ में से निकलता है।
उन्होंने कहा कि इस समारोह को मनाने का मुख्य उद्देश्य जन-जन तक गीता का ज्ञान पहुंचाना है ताकि लोग गीता का सार समझ सके। भगवान श्री कृष्ण ने कुरुक्षेत्र में धनुषधारी अर्जुन को गीता का उपदेश दिया था। अत: सरकार ने पूरे हरियाणा प्रदेश के सभी जिलों में गीता जयंती महोत्सव को मनाने का निर्णय लिया ताकि गीता का ज्ञान जन-जन तक पुहॅचे सके। उन्होंने कहा कि यह हमारे लिए शौभाग्य की बात है हमने ऐसे राज्य में जन्म लिया जहां भगवान श्री कृष्ण ने गीता का उपदेश दिया ओर गीता में बताया गया है कि कर्म सबसे बड़ा है जो व्यक्ति कर्म करता है उसे उसका फल जरुर मिलता है। इस अवसर पर उपायुक्त ने कहा नई पीढ़ी को गीता का ज्ञान देना जरूरी है। आज के आधुनिक युग में यदि हमारी युवा पीढ़ी में अच्छे संस्कारों का सृजन नही होगा तो हमारा देश तरक्की नही कर सकता।
यदि हमारे हिंदुस्तान को विश्व विजेता विश्व शक्ति,विश्व गुरु बनाना है तो उसके लिए जरुरी है कि हम अपने बच्चों को गीता के बारे में बताएं। गीता के संदेश को प्रदेश के घर-घर तक पहुचाने के लिए इस गीता जयंती की शुरुआत की गई है। साथ ही कहा कि हम चाहते है कि हमारी आने वाली पीढ़ी संस्कारी व गुणवान हो तथा बच्चों में अच्छे संस्कार ओर सदगुण का समावेस करने के लिए सरकार ने स्कूली पाठ्य क्रम में भी गीता श्लोक को शमिल करने का निर्णय लिया है। इस मौके पर उपायुक्त ने जिला स्तर पर विभिन्न प्रतिगिताओं में भाग लेनेे बच्चों को पुरस्कार वितरित किए। उन्होंने एक उदाहरण देते हुए कहा कि कौरवों और पाण्डवों के युद्ध में श्री कृष्ण ने पाण्डवों को पांच गांव देने के लिए कहा था जबकि दुर्योधन ने एक सुई का नाका तक देने से इंकार कर दिया था। दुर्योधन धर्म को जानते था, लेकिन धर्म उसकी प्रवृति में नहीं था।
उन्होंने कहा कि गीता जीवन पद्धति का ऐसा आध्यात्मिक गुरुमंत्र है जो मानव को नर से नारायण बना सकता है। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार द्वारा जो जिला स्तरीय गीता जयंती समारोह का आयोजन किया गया है, इससे लोगों की विचारधारा में परिवर्तन आएगा और गीता के संदेश का जन-जन तक प्रचार-प्रसार होगा। इस अवसर पर नगराधीश प्रदीप अहलावत, तहसीलदार बस्तीराम, जिला सूचना एवं जनसंपर्क अधिकारी दलबीर सिंह दहिया, नायब तहसीलदार शेरसिंह, भाजपा नेता संजय सिंह, डा. सुरेश मंडल अध्यक्ष ,प्रकाशचंद सैनी मंडल उपायध्य,नरेंद्र पटेल, चैयरमैन जहीद हुसैन, निगराणी सीमित के चैयरमैन नरेंद्र शर्मा, डा. सुरेश बघेल, सहित अन्य भाजपा नेता व जिला प्रशासन सहित हजारों की तादाद में दर्शक उपस्थित थे।