New Delhi/Alive News: दिल्ली में यमुना की सफाई को लेकर आम आदमी पार्टी और बीजेपी के बीच जंग छिड़ गई है। दिल्ली जल बोर्ड के उपाध्यक्ष के अनुसार छठ पूजा के लिए 1 महीने पहले ही यमुना नदी में जाकर प्रदूषण को कम करने के लिए तैयारी शुरू कर दी गई थी ताकि भक्तों को सूर्य देवता की दर्शन करने में किसी प्रकार की कोई कठिनाई ना हो। लेकिन इसी बीच राजनीति करने वाली लोगों का यह कहना कि यमुना में झाग को दबाने के लिए जहरीले रसायन का इस्तेमाल किया जा रहा है बेहद ही हास्य पद और गलत है।
उन्होंने कहा कि रसायन का मतलब जहर नहीं है। यहां तक कि पानी को साफ करने के लिए इस्तेमाल होने वाली क्लोरीन और फिटकरी भी एक प्रकार का रसायन ही है। दिल्ली जल बोर्ड अपनी ओखला सीवेज परीक्षण प्रयोगशाला के माध्यम से ओखला बैराज के डाउनस्ट्रीम मापदंडों की नियमित रूप से निगरानी कर रहा है। यह आईएसओ और एनएबीएल मान्यता प्राप्त प्रयोगशाला है।
लैब में किए गए ताजा परीक्षणों की रिपोर्ट से पता चलता है कि छिड़काव के बाद यमुना के पानी की गुणवत्ता के मानकों में सुधार हुआ है। घुलित ऑक्सीजन (डीओ) का स्तर 4.42 मिलीग्राम/ लीटर तक पहुंच गया है और यह प्रमाणित करता है कि यह रसायन जहरीला नहीं है, बल्कि इस रसायन के छिड़काव के बाद यमुना के पानी की गुणवत्ता में सुधार हुआ है।
भाजपा ने लगाया था आरोप
दिल्ली भाजपा ने यमुना के झाग को छुपाने के लिए जहरीले केमिकल का प्रयोग करने का आरोप दिल्ली सरकार पर मढ़ा है। भाजपा ने 50,000 लीटर जहरीला केमिकल जब्त करने का दावा किया है और इसकी शिकायत दिल्ली पुलिस को दर्ज कराई है।