November 16, 2024

चेवेनिंग छात्रवृत्ति योजना के तहत भारत के 75 मेधावियों को मुफ्त पढ़ाई कराएगा ब्रिटेन

ब्रिटेन ने भारत के 75 मेधावियों को मुफ्त पढ़ाई का मौका देकर इस चेवेनिंग छात्रवृत्ति योजना को भारत की स्वाधीनता की स्वर्ण जयंती पर तोहफा बताया है। ब्रिटेन ने भारत के प्रमुख उद्यमियों एचएसबीसी, पियरसन इंडिया, हिंदुस्तान यूनिलीवर, टाटा संस और ड्यूुलिंगो के साथ मिलकर देश के मेधावियों को सितंबर से मुफ्त पढ़ाई का मौका देने का फैसला लिया है।

किस परास्नातक कोर्स पर मिलती है छात्रवृत्ति
इस कार्यक्रम के तहत परास्नातक कोर्स के लिए एक साल की छात्रवृत्ति किसी भी ब्रिटिश यूनिवर्सिटी में, किसी भी विषय के लिए मिल सकती है। इसके अलावा, भारत में स्थित ब्रिटिश काउंसिल साइंस, टेक्नालॉजी, इंजीनियरिंग, मैथमेटिक्स (एसटीईएम) विषयों में छात्राओं के लिए 18 अतिरिक्त छात्रवृत्ति देती है। ब्रिटेन के 150 विश्वविद्यालयों में एसटीईएम के तहत 12,000 से ज्यादा कोर्स उपलब्ध हैं। ब्रिटिश काउंसिल छह अंग्रेजी छात्रवृत्ति भी देती है।

इस योजना की घोषणा के दौरान लंदन में इंडिया ग्लोबल फोरम के यूके-इंडिया वीक के दौरान भारत में ब्रिटेन के उच्चायुक्त एलेक्स ईल्स ने कहा, भारत के 75 वर्ष, यह साथ मील का पत्थर है। इन 75 छात्रवृत्तियों में से 30 फीसदी छोटे शहरों के लिए होंगी। इस पहल में एचएसबीसी 15, पियरसन इंडिया दो, हिंदुस्तान यूनिलीवर, टाटा संस और ड्यूुलिंगो एक-एक छात्रवृत्ति का वित्त पोषण करेंगे।

चेवेनिंग छात्रवृत्ति योजना पर क्या कहना है भारत के प्रमुख उद्यमि का
एसएसबीसी के सीईओ हितेंद्र देव ने कहा, हमारा उद्देश्य विश्वस्तरीय शिक्षा के माध्यम से युवाओं की क्षमताओं को निखारकर उन्हें नेतृत्व के लिए उत्साहित करना है। हम देश में नेतृत्व प्रतिभा विकसित करने में अहम भूमिका निभाएंगे।

चेवेनिंग छात्रवृत्ति योजना का सर्वाधिक लाभ भारत को
ब्रिटिश सरकार की चेवेनिंग छात्रवृत्ति योजना 1983 से 150 देशों में चल रही है। इसका मकसद वैश्विक नेतृत्व विकसित करना है। अब तक 3500 युवा इसका लाभ उठा चुके हैं। भारत को इसका सबसे ज्यादा लाभ मिला है।

ट्यूशन, रहने आदि का खर्च भी किया जाता है वहन
पूर्ण वित्तपोषित छात्रवृत्ति के तहत विद्यार्थी के ट्यूशन, रहने, यात्रा आदि का खर्च भी वहन किया जाता है। यह एक वर्षीय परास्नातक कार्यक्रम तक लागू रहता है। इसमें चयन के लिए विद्यार्थी को दो साल का कार्य का अनुभव होना जरूरी है।

ब्रिटेन में भारतीय विद्यार्थियों की संख्या इस साल हुई दोगुनी
आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, मार्च 2022 में समाप्त साल के दौरान ब्रिटेन में भारतीय विद्यार्थियों को पढ़ाई के लिए 1,08,000 वीजा जारी किए गए हैं। यह संख्या पिछले साल के मुकाबले लगभग दोगुनी है।