Gurgaon/Alive News : भूमि मुआवजे को लेकर प्रदेश के मुख्यमंत्री द्वारा दिये गये बयान से साबित होता कि बीजेपी सरकार किसान विरोधी सरकार है। भाजपा चुनाव से पहले स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट लागू करने के हसीन सपने दिखाकर देश व प्रदेश की भोली भाली जनता से वोट लेकर उन्हें ठेंगा दिखाने का काम किया। उक्त शब्द इंडियन नैशनल लोकदल के वरिष्ठ नेता एंव पूर्व डिप्टी स्पीकर गोपीचन्द गहलोत ने प्रैस के नाम जारी अपने बयान में कहे। उन्होंने कहा कि एक तरफ प्रदेश के कृषि मंत्री किसानों की हमदर्दी पाने के लिए फसल बीमा योजना की जागरूकता यात्रा निकालने का ढोंग कर रहे है वहीं दूसरी तरफ प्रदेश के मुखिया द्वारा सर्कल रेट के 4 गुना देने में असमर्थता जताकर मात्र सर्कल रेट का 20 प्रतिशत देने की बात कहना उनके किसान विरोधी चेहरे को उजागर करता है।
गहलोत ने कहा कि भाजपा सरकार ने आज तक स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट लागू नहीं की है जिससे प्रदेश के किसान की आर्थिक स्थिति बद से बदतर होती जा रही है। किसान कर्जदार हो रहा है जिससे दुखी होकर किसान आत्महत्या करने पर मजबूर हो रहा हैै। चुनाव के समय 154 वायदे लेकर सत्ता में आयी बीजेपी सरकार को याद रखना चाहिए कि इनमें किसानों के हित के लिए भी अनेक वायदे थे जैसे किसानों के कर्जे माफ , स्वामीनाथन आयोग, एक रूपया लगाओ और डेढ रूपया पाओ, फसल का मुआवजा, उचित अधिग्रहण आदि जो आज आप भूल रहे है। याद रहे प्रदेश की भोली भाली जनता की चक्की धीरे चलती है पर पीसती बहुत बारीक है। गहलोत ने कहा कि भाजपा के मंत्री से लेकर सन्तरी तक किसानों के पीछे पड़े है।
किसान यदि सरकार से अपनी खराब फसल के मुआवजे की मांग करती है तो सरकार में बैठे मंत्री उन्हें उल्टा बीमा करवाने पर जोर दे रहे है। भाजपा की फसल बीमा योजना किसानों के साथ केवल ओर केवल धोखा है। ये किसानों को कम्पनीयों के पास गिरवी रख रहे है तथा किसानों के नुकसान की भरपाई से बचना चाह रहे है। गहलोत ने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था में किसान का बहुत बड़ा योगदान होता है और यदि किसान के साथ ही भेदभाव व अन्याय होता है तो संभवत देश की अर्थव्यवस्था पर भी इसका असर पड़ेगा। इंडियन नैशनल लोकदल के कार्यकर्ता प्रदेश के किसानों के साथ हो रहे अन्याय का पुरजोर तरीके से विरोध करेंगे।