Faridabad/Alive News: एनआईटी के रोज गार्डन की दीवार और ओपन थियेटर में लगे लाल पत्थर को आसमान खा गया या दीवार निगल गई। दीवार पर करीब पांच साल पहले लगाया गया लाल पत्थर कहा गया इसकी जानकारी नगर निगम अधिकारियों को भी नहीं है और ना ही कोई चोरी की शिकायत दर्ज हुई। आखिरकार दीवार पर लगा लाखों का पत्थर कहा गया। शायद घटिया सामग्री दीवार और पुराने थिएटर में लगाए जाने के कारण एक ही योजना में पत्थर दीवार से गायब हो गया। अधिकारियों से पूछे जाने पर पता चला की उनको भी जानकारी नही है। फिर हमारे संवाददाता ने बड़खल की विधायक से पत्थर को लेकर सवाल किया तो पता चला कि पार्क में आने वाले लोगों ने सरकारी सम्पति को भी नही छोड़ा और दीवार का पत्थर व थियेटर को नुकसान पहुंचाया हैं। उन्होंने बताया था कि सरकार का सुविधा देना है और जनता को भी अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए। लेकिन रोजगार्डन की सुरक्षा के लिए भाजपा सरकार की दो योजना में कोई सुरक्षाकर्मी रोजगार्डन की सुरक्षा के लिए नियुक्त नहीं किया गया।
पाठकों को बता दें कि भाजपा सरकार की पहली योजना में बड़खल विधानसभा की विधायक सीमा त्रिखा ने 2018-19 में रोजगार्डन का सौंदर्यीकरण करने के लिए 1 करोड़ 48 लाख की लागत से एनआईटी की शोभा और लाखो लोगों के भ्रमण का केंद्र रोजगार्डन की दीवार और ओपन थिएटर का निर्माण कराया था। उस समय बनाने वाली कंपनी मालिक बिल्डर ने दीवार के ऊपर लाल पत्थर और थिएटर में बैठने वाली सीट पर चारों ओर लाल पत्थर लगाने का काम किया था। करीब पांच साल पूरे होने से पहले ही रोजगार्डन की दीवार से लाल पत्थर गायब हो गया और थिएटर में लगा पत्थर भी नहीं है अब 2024 में उसी कम को कराने के लिए सरकार ने एफएमडीए को टेंडर दिया है ताकि रोजगार्डन का सौंदर्यीकरण हो सके।
बड़े मजे की बात तो यह की सरकार के निगम अधिकारियों ने पिछली योजना में रोजगार्डन के सौंदर्यीकरण पर लगाए रुपयों का कोई हिसाब नही दिया और अब पार्क में किए निर्माण का कोई उनके पास जवाब नहीं है। इससे सरकार की नीति साफ नजर आ रही है पिछला भूलो और अगला शुरू करो। रोजगार्डन के सौंदर्यीकरण में जो दीवार पर पत्थर लगाया गया था उसकी जांच होनी चाहिए। निर्माण कार्य करने वाली कंपनी ने मिलीभगत कर जनता के धन पर कहीं हाथ साफ तो नहीं किया? क्योंकि शहर का पार्क अपनी दुर्दशा के लिए पूरे फरीदाबाद में विख्यात है। इस गार्डन में इसके नाम के अनुसार कुछ भी नहीं है जिस फूल के नाम पर इस गार्डन का नाम पड़ा है वह फुल तक भी इस गार्डन में देखने को नहीं मिल रहा है और सरकार इसके सौंदर्यीकरण को लेकर करोड़ो रुपए खर्च कर चुकी है और अब एफएमडीए को काम देकर खर्च करने में लगी है।
क्या कहना है अधिकारी का
मेरी जानकारी में नही रोजगार्डन की दीवार और थिएटर का पत्थर कैसे गायब हो गया और ना ही किसी ने शिकायत दी है। आप के माध्यम से पता चला कि दीवार का पत्थर गायब है। शिकायत आने पर सामग्री और पत्थर चोरी की जांच कराई जाएगी। इस दीवार पर पत्थर लगाने और थिएटर बनाने का काम मलिक बिल्डर ने 1 करोड़ 48 लाख की लागत से किया था। इसमें क्या क्या काम शामिल था इसकी जानकारी नही है।
-नितिन कादियान, एक्सईएन नगर निगम फरीदाबाद।