Faridabad/Alive News : राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय एनएच तीन फरीदाबाद की जूनियर रेडक्रॉस और सैंट जॉन एंबुलेंस ब्रिगेड और गाइड्स ने प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा की अध्यक्षता में विश्व हाइपरटेंशन दिवस अर्थात विश्व उच्च रक्तचाप दिवस पर वर्चुअल जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया। जूनियर रेडक्रॉस, सैंट जॉन एंबुलेंस ब्रिगेड प्रभारी प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने कहा कि पहली बार विश्व उच्च रक्तचाप दिवस 2005 में मनाया गया था और इस का प्रारंभ वर्ल्ड हाइपरटेंशन लीग द्वारा किया गया था।
बदलती दिनचर्या के साथ लोगों का रक्तचाप बढ़ रहा है। ऐसे में बहुत जरूरी है कि इसपर नियंत्रण पाया जाया क्योंकि विश्व का हर चौथा व्यक्ति इस समस्या से जूझ रहा है। एक सामान्य व्यक्ति का ब्लड प्रेशर 120/ 80 होता है। यदि यह 140/90 या उससे ऊपर जाता है तो ऐसी स्थिति को उच्च रक्तचाप कहा जाता है। मोटापा, अव्यवस्थित दिनचर्या व जेनेटिक कारणों से भी लोगों में उच्च रक्तचाप की समस्या होती है। रविंद्र कुमार मनचंदा और गणित प्राध्यापिका जसनीत कौर ने बताया कि रक्तचाप के बढ़ने पर हार्ट पर दबाव पड़ने लगता है जो कि स्वास्थ्य की दृष्टि से बिल्कुल भी ठीक नहीं है। हाई ब्लडप्रेशर या हाईपरटेंशन का खतरा महिलाओं से ज्यादा पुरुषों में होता है। इसके अलग-अलग कारण हो सकते हैं। जैसे- फैमिली हिस्ट्री, तनाव, गलत खानपान और लाइफ स्टाइल आदि।
बचाव के उपाय
लेकिन इससे बचने के लिए न केवल डाइट और लाइफ स्टाइल पर ध्यान देने की जरूरत है बल्कि तनाव को कम करना और शरीर को सक्रिय बनाए रखने के लिए एक्सरसाइज भी बहुत जरूरी है। प्राचार्य रविंद्र कुमार मनचंदा ने बताया कि उच्च रक्तचाप वयस्कों, बच्चों, स्त्री व पुरुष सभी को प्रभावित करता है। अधिक भार वाले लोगों को ब्लड प्रेशर या हाइपरटेंशन की बीमारी ही नहीं बल्कि हृदय, गुर्दा व रक्त नलिकाओं में इंफेक्शन की बीमारी भी होती है। मोटापे के कारण ही उच्च रक्तचाप ज्यादा फैलता है। बढ़ता शहरीकरण, जंक व फास्ट फूड का सेवन लोगों को इसका मरीज बना रहा है। यह खतरनाक बीमारी हर वर्ष विश्व के 70 लाख लोगों को मृत्यु के मुंह में धकेल देती है। यह बीमारी विश्व के एक अरब लोगों के लिए मुसीबत का कारण बनी हुई है।