December 24, 2024

लंदन से कोहिनूर और टीपू सुल्तान की अंगूठी लेकर लौटे मोदी : आजम

रामपुर : उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री आजम खान ने गुरुवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी में जरा भी स्वाभिमान है तो उन्हें लंदन से कोहिनूर हीरा लेकर ही लौटना चाहिए। आजम ने मीडिया से बातचीत में कहा, ‘मोदी लंदन गए हुए हैं। हम समझते हैं कि वह टीपू सुल्तान की उस अंगूठी को वापस लेकर ही आएंगे, जिस पर राम लिखा है। वह अंगूठी आरएसएस और भाजपा नेताओं को भी दिखाएंगे। हमारा मानना है कि उन्हें ताज तो नहीं मिलेगा, मगर कोहिनूर जरूर लेकर आएंगे।’

आजम ने कहा, ‘टीपू सुल्तान ने अंग्रेजों से जंग लड़ी थी। देश में अंग्रेजों को आने से रोकने के लिए टीपू सुल्तान ने बहुत कुर्बानी दी थीं। विशाखापट्नम की लड़ाई में उनकी मौत हुई थी, जिसे लोग शहादत मानते हैं। हम भी शहादत मानते हैं, और मरते-मरते भी टीपू सुल्तान ने उस जनरल को मार दिया था, जिसने टीपू सुल्तान को मारा था। टीपू सुल्तान के हाथ से अंगूठी उतार ली गई थी, जो आज भी लंदन के म्यूजियम में रखी है। इसलिए हमारे प्रधानमंत्री को वह अंगूठी लेकर आना चाहिए।’

गौरतलब है कि कर्नाटक में टीपू सुल्तान की जयंती मनाए जाने का आरएसएस व विश्व हिंदू परिषद के लोगों ने विरोध किया, बंद के ऐलान बीच व्यापक हिंसा हुई, जिसमें एक शख्स की जान गई। आजम का इशारा उसी सांप्रदायिक घटना की ओर है।

एफडीआई के सवाल पर उन्होंने कहा कि यह अडाणी जैसे उद्योगपतियों को लाभ पहुंचाने के लिए है। इसकी कीमत पूरा देश भुगत रहा है। आजम ने कहा, ‘प्रधानमंत्री ने देश से जो वादे किए थे, वे कहां हैं आज? महंगाई पहले से कहीं ज्यादा है। उन्होंने हर व्यक्ति को सौ दिन के भीतर 20 लाख रुपये देने का वादा किया था। दो करोड़ युवकों को नौकरी देने का वादा किया था। 24 घंटे बिजली का वादा भी किया था। इन वादों का क्या हुआ?’

उन्होंने कहा, ‘बिहार में भाजपा की हार हुई है, तब से देश में थोड़ी शांति आई है..कितना अच्छा माहौल है। इस कदर सुकून है कि कहीं गुंडागर्दी सुनने को नहीं मिल रही है। अगर बिहार में भाजपा की सरकार बनी होती तो देशभर में अभी हंगामा हो रहा होता। बिहार के लोगों ने समूचे देश को राहत दी है।’

प्रधानमंत्री के कश्मीर में फौजियों के साथ दिवाली मनाने पर आजम खान ने कहा कि यह कोई बड़ी बात नहीं है। प्रधानमंत्री को बिहार के उन लोगों के साथ दिवाली मनानी चाहिए थी, जिन्होंने भाजपा को वोट नहीं दिया। उन लोगों की नाराजगी क्यों है, उन्हें पूछना चाहिए था।