Chandigarh/Alive News: हरियाणा में आने वाले दिनों में गांवों की सरकार लोकसभा और विधानसभा की तर्ज पर चलाने की योजना है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल जिला परिषद और ब्लॉक समितियों में भी एक-दो दिन का सत्र आयोजित करवाना चाहते हैं। उन्होंने शनिवार को पहली बार एक साथ हुए 6200 सरपंच, 60133 पंच, 3081 ब्लॉक समिति और 411 जिला परिषद सदस्यों के शपथ ग्रहण समारोह में वर्चुअली संबोधन के दौरान योजना को साझा किया।
मुख्यमंत्री चाहते हैं कि जिला परिषद व पंचायत समिति में एक-दो दिन का सत्र बुलाया जाए, जिसमें जनता के मुद्दे चुने हुए प्रतिनिधि उठा सकें। अच्छे प्रस्ताव पास होने से ग्रामीण क्षेत्र में विकास कार्य तेजी से होंगे। गांवों में युवाओं व एनजीओ की समिति बनाएं, वह गांव में सुधार करे और भ्रष्टाचार पर निगरानी रखे। पंचायती राज संस्थाएं गांवों की सरकार हैं।
केंद्र और राज्य सरकार के विकास कार्य पंचायत प्रतिनिधियों के जरिये ही धरातल पर होते हैं। पंचायती राज संस्थाओं के कार्यालय होने चाहिए। सरकार ने ग्राम सचिवालय की कल्पना की थी, जो कुछ जगह साकार हो चुकी है। जिला परिषद कार्यालय बनाए जा रहे हैं। पंचायत समिति कार्यालयों का काम भी पूरा किया जाएगा। सरकार परिवार पहचान पत्र बनाने और गलत जानकारी में सुधार के लिए कैंप लगाएगी। इसके लिए 10, 11 दिसंबर, 16 से 18 दिसंबर तक कैंप लगेंगे। लोग नए परिवार पहचान पत्र व पुराने पीपीपी में सुधार करवा सकते हैं।
पंच, सरपंच, ब्लॉक समिति व जिला परिषद सदस्यों की कुल 71,696 सीटों के लिए चुनाव हुआ था। 40 हजार 500 जनप्रतिनिधि सर्वसम्मति से चुने गए, जो करीब 60 प्रतिशत हैं। 29474 सीटों के लिए 85127 उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा। सर्वसम्मति से चुनी पंचायतों को 11 लाख, सरपंच को 5 लाख, पंच चुने जाने पर 50 हजार रुपये और ब्लॉक समिति सदस्य व जिला परिषद सदस्य सर्वसम्मति से चुने जाने पर 2-2 लाख रुपये सरकार दे रही है। यह राशि 300 करोड़ रुपये बनती है।