New Delhi/Alive News : टेलीकॉम रेग्युलेटर अथॉरिटी ऑफ इंडिया (TRAI) ने सरकार से हवाई सफर के दौरान पैसेंजर्स को कॉलिंग और इंटरनेट सर्विस मुहैया कराने की सिफारिश की है। TRAI ने शुकवार को अपने प्रस्ताव में कहा कि फ्लाइट में सैटेलाइट या टेरेस्ट्रीयल नेटवर्क से इंटरनेट और मोबाइल कम्यूनिकेशन ऑन बोर्ड (MCA) जैसी सर्विसेज इस्तेमाल करने की परमिशन दी जानी चाहिए।
खास ऊंचाई पर मिले सर्विस
– TRAI ने कहा कि मोबाइल और इंटरनेट सर्विस देने के लिए खास कैटेगरी बनाई जाएगी और उसी नेटवर्क से सर्विस दी जाएगी। लेकिन ये भी शर्त है कि प्लेन की ऊंचाई कम से कम 3,000 मीटर या करीब नौ हजार फुट होनी चाहिए। मतलब प्लेन के उड़ान भरने के बाद एक खास ऊंचाई पर पहुंचने के बाद ही ये सर्विस मिलेगी।
– TRAI ने कहा कि Wi-Fi ऑनबोर्ड से इंटरनेट सर्विस देते वक्त इस बात का ध्यान रखा जाना चाहिए कि इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस सिर्फ फ्लाइट या एयरप्लेन मोड में हों। साथ ही प्लेन के उड़ान भरने से ठीक पहले पैसेंजर्स को इस बारे में बताया जाए।
लाइसेंस फीस सालाना 1 रुपए
– TRAI के मुताबिक हवाई सफर में मोबाइल और इंटरनेट देने के लिए अलग-अलग कैटेगरी बनाई जाएं। एक जो इंडियन सैटेलाइट सिस्टम का इस्तेमाल कर के ये सर्विस दे और दूसरा जो विदेशी सैटेलाइट्स का इस्तेमाल करें। ऐसे ऑपरेटर्स को टेलिकॉम डिपार्टमेंट के पास रजिस्टर्ड कराना होगा। इसमें भी शर्त यही है कि ऑपरेटर भारतीय होना चाहिए। फिलहाल इसकी लाइसेंस फीस सालाना 1 रुपए होगी।
टेलीकॉम डिपार्टमेंट की मंजूरी बाकी
– ये प्रोवाइडर भारतीय सैटेलाइट सिस्टम या स्पेस डिपार्टमेंट के जरिए लीज बेस्ड विदेशी सेटेलाइट से सर्विस दे सकते हैं। टेलीकॉम डिपार्टमेंट ने पिछले साल 10 अगस्त को फ्लाइट में इंटरनेट और मोबाइल और वीडियो टेलीफोन सर्विस देने के बारे में ट्राई की सलाह मांगी थी। अब टेलीकॉम डिपार्टमेंट की मंजूरी मिलते ही भारतीय वायु सीमा में सभी फ्लाइट में ये सर्विस मिलने लगेंगी। डोमेस्टिक एयरलाइंस और यात्री लंबे वक्त से इस मंजूरी की मांग कर रहे थे। अमेरिका समेत कई देशों में ये पहले ही चालू है।