Faridabad/Alive News : पंजाबी अरोडा समाज की सुमन बाला खेडा को एससी सार्टिफिकेट के आधार पर महौपार बनाने पर अडी हरियाणा की भाजपा सरकार में सीपीएस सीमा त्रिखा और केन्द्रीय मंत्री कृष्णपाल गुर्जर को मूंंह की खानी पड सकती है, क्योंकि इस मामले को माननीय न्यायाधीश गरीमा यादव ने अपनी अदालत में सुनवाई के लिए आई अर्जी को स्वीकार कर लिया है। मामले की पैरवी कर रहे वकील राजेश अहलावत ने जानकारी देेते हुए बताया कि उनके पास इस मामले के ठोस कागजात हैं, जिनसे साबित होता है कि वार्ड 12 से पार्षद बनी सुमन बाला खेडा पंजाबी अरोडा समाज से हैं जो जनरल कैटगरी में आता है और एससी वर्ग में नहीं।
अहलावत ने बताया सुमन बाला खेडा के पिता लोकनाथ अरोडा पुत्र सोभनाथ अरोडा जो मूलत: अब के पाकिस्तान से यहां बंटवारे के समय आए थे, और यहां की सरकार ने उनको बसाया था। उस समय हजारों परिवार आए थे जिनको पंजाबी वर्ग कहा गया, और जहां से यह लोग आए हैं वहां पर न तो अब और न ही पहले किसी को एससी वर्ग माना गया है। इन लोगों ने फरीदाबाद में आने के बाद अपने आप को सिर्फ पंजाबी वर्ग घोषित किया कभी किसी ने अपने को दलित परिवार का हिस्सा नहीं कहा, और न ही अपने आपको एससी वर्ग का सदस्य नहीं बताया। वकील अहलावत ने बताया कि सुमन बाला के परिवार के लोग भी एससी या जुलाहा कास्ट किसी फार्म पर नहीं लिखते।
सुमन बाला के पिता लोकनाथ अरोडा ने ही केवल अपना जाति प्रमाण पत्र जुलाहा जाति का बनवाया है, जबकि इनके दादा या परदादा का नहीं बना। उन्होने अदालत में मामले की सुनवाई के लिए लगाई अर्जी में कहा है कि लोकनाथ अरोडा जो एक पंंजाबी वर्ग में आते हैं और उनका असल गोत्र जुलाया है न कि जाति जुलाहा है। उन्होने केवल एससी वर्ग का लाभ लेने के लिए या यूं कहें कि एससी जाति के गरीब लोगों का हक खाने के लिए अपना एससी प्रमाण पत्र किसी भी तरह जुगाड करके बनवा लिया था।