Poonam Chauhan/Alive News
Faridabad: प्री मानसून की पहली बारिश ने प्रशासन के खोखले दावों की पोल खोलकर रख दी है। कुछ घंटों की बारिश ने शहर की गति पर रोक लगा दी थी। इस बारिश में कॉलोनी की सड़कों के साथ-साथ पॉश क्षेत्र भी जलभराव से अछूता नहीं रहा। नगर निगम अधिकारी प्री मानसून से पहले ही पांचों जोन में नाले-नालियों, सीवर ड्रेनेज लाइन, सीवर ट्रीटमेंट प्लांट और रैन हार्वेस्टिंग सिस्टम की सफाई का काम शुरू कराने के दावे कर रहे है। लेकिन जलभराव ने अधिकारियों की खानापूर्ति की पोल खोलकर रख दी।
हर साल बरसात में होता है जलभराव
शहर में हर साल बारिश के दौरान जलभराव हो जाता है। शायद ही शहर की ऐसी कोई सड़क बाकी रह जाती है, जहां जलभराव नहीं होता। सड़कों और गलियों में दो-दो फुट तक पानी जमा हो जाता है। इससे जन-जीवन अस्त व्यस्त हो जाता है। लोगों का घर से निकलना मुश्किल हो जाता है। सड़कें टूट जाती हैं जिससे हादसे होते रहते हैं।
रैन हार्वेस्टिंग सिस्टम पड़े थे ठप
नगर निगम द्वारा शहर में 80 से अधिक रैन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम बनाए हुए हैं। सालों पहले बने ये सिस्टम ठप हैं। देखरेख के अभाव में अब ये केवल शोपीस बनकर रह गए हैं। इनके मुहाने व आसपास कचरा जमा है। इसलिए बारिश के दौरान पानी इनके माध्यम से जमीन के नीचे नहीं पहुंच पाता और शहर में जलभराव की स्थिति कई दिनों तक बनी रहती है।
समय पर नहीं हुए सीवर साफ
नगर निगम के पास सीवर की सफाई के लिए सुपर सकर मशीनों के साथ कई ट्रेक्टर पर लगी मशीनें हैं। जो ठेकेदारों के माध्यम से सीवर सफाई का काम करती हैं। लेकिन निगम अधिकारियों की काम में लापरवाही के कारण ठेकेदारों को मोटा भुगतान होने के बाद भी शहर के साफ नहीं हुए और बरसात में सीवर ओवरफ्लो होने से जलभराव की स्थिति बनी रही।
खुले मैनहोल पर अभी तक नहीं बदले गए टूटे ढक्कन
कुछ क्षेत्रों में सीवर सफाई के बाद अभी तक टूटे ढक्कनों की जगह नए ढक्कन नहीं लगाए गए। जलभराव के कारण खुले मैनहोल दुर्घटना का कारण बन रहे हैं। इससे पहले शहर में खुले मैनहोल में गिरने से कई दुर्घटनाएं हो चुकी हैं औऱ लोगों की जान भी जा चुकी है। बरसात से पहले मैनहोल के ढक्कनों की रिपेयरिंग नहीं की गई तो आन वाली बरसात में बड़े हादसे हो सकते हैं।
क्या कहना है अधिकारी का
हमने पांचों जोन में वार्ड कमेटी के साथ मिलकर ड्राइव चलाई थी, जिसमें सीवरेज और नालों की सफाई की कराई गई और अभी काम जारी है। मोटर और पंप की रिपेयरिंग और चेंज कराने के लिए एक्सईएन को बोला हुआ है ताकि मानसून के वक्त दिक्कत ना आए।
-रामजीलाल, चीफ इंजीनियर, नगर निगम।