December 24, 2024

हरियाणा सरकार आरडब्ल्यूए द्वारा भेजे गए प्रस्ताव वाली अवैध कॉलोनियों को करेगी ही वैध, पढ़िए खबर में

Chandigarh/Alive News: हरियाणा सरकार आरडब्ल्यूए (रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन) द्वारा भेजे गए प्रस्ताव वाली अवैध कॉलोनियों को ही वैध करेगी। विभागीय नियमों पर खरी नहीं उतरने वाली शेष कॉलोनियों को भी पक्का करने के लिए सरकार छूट देने की तैयारी में है। इसके लिए सरकार ने सभी शहरी निकाय संस्थाओं को 31 दिसंबर तक इस संबंध में सदन से प्रस्ताव पारित करने का निर्देश दिया है। सभी कॉलोनियों में रेजिजेंट वेलफेयर एसोसिएशन का गठन कर प्रस्ताव भेजने को कहा गया है। हालांकि, अवैध से वैध होने वाली कॉलोनियों को डेवलपमेंट चार्ज जमा कराना होगा।

मिली जानकारी के अनुसार प्रदेश में कराए गए सर्वे के अनुसार नगर पालिका क्षेत्र में कुल 2237 अनाधिकृत कलोनियां हैं। इनके मुकाबले हरियाणा सरकार के पास अब तक कुल 1465 कॉलोनियों को वैध करने के प्रस्ताव आ चुके हैं। इनमें 1399 कॉलोनियों के प्रस्ताव संबंधित निकाय संस्थाओं ने पारित करके मुख्यालय को भेजे हैं, जबकि रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन के माध्यम से 66 अन्य कॉलोनियों को पक्का करने का प्रस्ताव भेजा है।

सरकार ने व्यक्तिगत रूप से और सीधे नगर पालिकाओं द्वारा भेजे गए प्रस्तावों को दरकिनार कर दिया है, क्योंकि काफी संख्या में ऐसी कॉलोनियां पाई गई हैं, जहां पर कालोनाइजर कॉलोनी काटने के बाद चला गया, या फिर वहां पर अभी तक आरडब्ल्यूए का गठन नहीं हो सका है। सरकार ने फैसला लिया है कि सरकार के पास सीधे आए प्रस्तावों पर अमल नहीं किया जाएगा, बल्कि संबंधित नगर निकाय संस्थाओं द्वारा सदन में पारित प्रस्ताव और संबंधित कॉलोनी की एसोसिएशन द्वारा प्रस्ताव देने पर कॉलोनी को वैध किया जाएगा।

अवैध कॉलोनियों को वैध करने के लिए हरियाणा सरकार ने कानून में संशोधन करते हुए राहत प्रदान की थी। पहले कॉलोनी को वैध करने के लिए 50 प्रतिशत और 75 प्रतिशत प्लॉटों पर निर्माण कार्य होने की शर्त थी लेकिन नए संशोधन के तहत इस शर्त को हटा दिया है। कॉलोनियों को श्रेणीवार बांटा गया, जिनमें 25 प्रतिशत तक निर्मित क्षेत्र वाली कॉलोनियां, 25 से 50 प्रतिशत के बीच, 50 से 75 प्रतिशत के बीच तथा 75 प्रतिशत से अधिक निर्मित क्षेत्र वाली कॉलोनियां शामिल हैं।

कुल प्रस्तावों में कई ऐसी कालोनियां हैं, जो आबाद तो हो गई लेकिन वह नियम पूरे नहीं करती। जैसे नियम है कि कालोनियों में 6 मीटर चौड़ी सड़क होनी चाहिए लेकिन काफी संख्या में ऐसी कालोनी हैं, जो यह शर्त पूरी नहीं करती। प्रदेश सकार इन कालोनियों को भी राहत देकर पक्का करने की योजना बना रही है। 

अगस्त माह में सरकार ने तय की छह माह की डेडलाइन
अगस्त माह में विधानसभा के मानसून सत्र में हरियाणा सरकार ने नियमों को पूरा करने वाली अवैध कॉलोनियों को वैध करने के लिए छह माह की डेडलाइन तय की थी। फैसले के तहत आगामी तीन माह तक नगर पालिकाएं, परिषद और निगम अपने-अपने क्षेत्र में कॉलोनियों को वैध करने के लिए अपने प्रस्ताव भेजने थे। इसके तीन महीने में सरकार इनको नियमित करना था लेकिन अब आरडब्ल्यूए से प्रस्ताव मांगे जाने से यह मामला फिर से लंबा खिंच सकता है, क्योंकि अधिकतर कालोनियों में आरडब्ल्यूए का गठन नहीं है। सरकार चाहती है कि आरडब्ल्यूए के गठन के बाद उसी की जिम्मेदारी से डेवलपमेंट चार्ज की वसूली की जाए।