Faridabad/Alive News: शुक्रवार को ग्रीन इंडिया फाउंडेशन (गिफ्ट) ने नम भूमि संरक्षण के महत्व को बताते हुए बड़खल झील से सूरजकुंड तक पदयात्रा निकली। नम भूमि संरक्षण पदयात्रा विश्व जल परिषद, फ्रांस के सदस्य और ग्रीन इंडिया फाउंडेशन के अध्यक्ष डॉ जगदीश चौधरी द्वारा आयोजित की। इस अवसर पर डॉ. चौधरी ने बताया कि फरीदाबाद पानी की कमी से जूझ रहा है। लेकिन यमुना नदी और अरावली की पहाड़ियों के बीच का एक हिस्सा उपजाऊ और जल से भरपूर है।
लेकिन सरकारी उपेक्षा, गलत नीतियों के कारण जिले के सभी जल स्त्रोत खत्म होते जा रहे हैं। अधिकतम जल वाले क्षेत्रों पर जैसे झील, तालाब, नदियों पर लोगों ने या तो कब्जा कर लिया है या फिर उनमें इतनी गंदगी डाल दी गई है कि वह कूड़ा घर ज्यादा नजर आते हैं।
इसी भाव को ध्यान में रखते हुए फरीदाबाद के लोगों को पीने का पानी बाहर से ना मांगना पड़े आज उसी को लेकर “नम भूमि संरक्षण यात्रा” बड़खल झील से लेकर सूरजकुंड के तथाकथित सूखे कुंड तक निकाली गई, ताकि राज और समाज थोड़ा संवेदनशील हो और इस विषय में अपने व्यवहार बदले जिससे फरीदाबाद जलदार हो सके।
यमुना पुत्र अशोक उपाध्याय ने जल के पर्यावरणीय महत्व और उस पर अपनी नैतिक जिम्मेदारियों को स्पष्ट किया। बागपत से संजय राणा ने हरियाली जल और मानवीय जीवन के त्रिकोण को समझाया और आपसी निर्भरता स्पष्ट की।
हरियाणा युवा शक्ति के अध्यक्ष और राष्ट्रीय युवा योजना के हरियाणा प्रभारी रोहतक से सुरेश राठी, अलीगढ़ उत्तर प्रदेश सुबोध शर्मा, गाजियाबाद से प्रशांत सिंहा, दिल्ली से डॉ नीलम रानी, अरावली बचाओ की अध्यक्ष नीलम अहलूवालिया और उनके साथी, इंडियन सूट ऑफ वाटर एजुकेशन के निदेशक संजय गुप्ता व भारत सेवक प्रतिष्ठान के निदेशक श्रीकृष्ण सिंगल ने जल, प्लास्टिक और पेड़ की महत्ता को समझाया और पूरी पदयात्रा में मार्गदर्शन का कार्य किया।
इस मौके पर बल्लभगढ़ बालाजी कॉलेज के शिक्षाविद प्रोफेसर अरविंद गुप्ता, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय, गुरुकुल फरीदाबाद व आइडियल पब्लिक स्कूल शिवदुर्गा विहार के छात्रों ने इस यात्रा में बढ़ चढ़ कर भाग लिया।