Poonam Chauhan/ Alive News
Faridabad : प्रशासन की सह पर शहर में चल रहे गैर मान्यता प्राप्त स्कूल धड़ल्ले से फलफूल रहे हैं। लोगों को गुमराह कर बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ करने वाले फर्जी स्कूलों को लेकर न तो अधिकारी गम्भीर नजर आ रहे है ना ही शिक्षा विभाग को कोई चिंता सता रही है। ऐसे स्कूलों के फर्जीवाड़े और भ्रष्ट प्रशासन के खिलाफ शहर के ही कुछ लोगों ने ‘मिशन शिक्षा’ के तहत आवाज उठानी शुरू कर दी है।
आजकल फेसबुक और वाट्सएप पर शिक्षाविभाग और गैर मान्यता प्राप्त स्कूल के खिलाफ छपा एक पैम्फलेट तेजी से लोगों के बीच वायरल हो रहा है, जोकि सभी के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है। इस पैम्फलेट की सच्चाई को पाठकों के समक्ष रखने के लिए जब हमने छानबीन की तो पता चला कि शहर के ही कुछ सामाजिक लोगों ने एक टीम बनाकर फर्जी स्कूलों पर शिकंजा कसने और शिक्षा विभाग के अधिकारियों की कार्यशैली और भ्रष्ट प्रशासन की पोल खोलने के लिए सोशल मीडिय़ा का सहारा लेकर पैम्फलेट को शहर में वायरल किया है। ताकि सभी को प्रशासन और गैर मान्यता प्राप्त स्कूलों की सांठगांठ का पता लग सके कि आखिर कैसे अधिकारी बच्चों के भविष्य को दाव पर लगाकर अपनी जेबे गर्म कर रहे है।
उन्हे शिक्षा के नाम पर चल रहे खिलवाड़ से कोई लेना देना नहीं है उन्हे तो सिर्फ जेबे भरने से ही मतलब है। ‘मिशन शिक्षा’ टीम के सदस्य सुनील यादव ने बताया कि फर्जी स्कूलों को बन्द कराने के लिए जब हमने शिक्षा विभाग से गैर मान्यता प्राप्त स्कूलों की लिस्ट मांगी तो उनके अधिकारियों ने हमें इस कुर्सी से उस कुर्सी पर जाने के लिए कहा और अनावश्यक ही हमें परेशान किया गया ताकि हम लिस्ट के ख्याल तक को अपने दिमाग से निकाल दें और शांत बैठ जाए। इतना ही नहीं जब हमने कुछ स्कूलों की सुचना अधिकारियों को दी और मौके पर चलने को कहां तो किसी तरह तो वह चलने को राजी हुए लेकिन जब हम स्कूल पहुंचे तो स्कूल संचालक स्कूल बंद कर स्कूल का बोर्ड हटा वहां से गायब हो गए। ऐसे में हमारे आने की सुचना उन तक कैसे पहुंची ? इतना सब होने के बाद भी विभाग हरकत में नहीं आया और आज भी फर्जी स्कूल धड़ल्ले से शहर में चल रहे हैं और उनमें बच्चों के एडमिशन हो रहे हैं। प्रशासन की तरह से कोई मद्द न मिलने पर हमने सोशल मीडिया का रास्ता चुना और लोगों के बीच अपनी बात को रखा।
स. कुलदीप सिंह ने बताया की हमारी टीम 21 अप्रैल को ‘मिशन शिक्षा’ के तहत उपायुक्त को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नाम ज्ञापन सौंपेंगी। ज्ञापन के माध्यम से प्रधानमंत्री तक अपनी बात पहुंचाई जाऐंगी।
किन चीजों को किया है शामिल ?
– बार-बार शिकायत करने पर भी शिक्षा विभाग कार्यवाही को तैयार नही?
– शिक्षा विभाग में कार्यरत अधिकारी और कर्मचारी कहते है हम पर नेताओं का दबाव।
– अधिकांश स्कूल में 10वीं पढ़े शिक्षक पढ़ा रहे है।
– विद्यार्थी को शुद्ध पानी, शौचालय, खेल ग्राउंड और सुरक्षित भवन भी नहीं मिल रहा है फिर भी यह स्कूल चल रहे है?
– हरियाणा सरकार शिक्षा के स्तर को सुधारने के लिए नहीं है गंभीर।