Chandigarh/Alive News: प्रदेश में नियुक्त होने वाले नए लोकायुक्त के वेतन से उसे पहले से मिल रही पेंशन की राशि काटने की सरकार ने तैयारी कर ली है। सरकार ने इसे लेकर शुक्रवार को बिल पेश किया, जिस पर सेामवार को चर्चा होगी। इस पद पर हाई कोर्ट के रिटायर्ड जज की ही नियुक्ति होती है। अब तक प्रावधान यह था कि लोकायुक्त को वेतन-भत्ते के साथ जिस पद से रिटायर्ड हुआ था, उसकी पेंशन भी मिलती थी, लेकिन अब सरकार नया प्रावधान कर रही है। जिसके अनुसार लोकायुक्त को जो पेंशन मिल रही है, उतनी राशि वेतन से कट जाएगी।
यानी उसे दोहरा लाभ नहीं मिलेगा। कुछ दिन पहले एनएके अग्रवाल का लोकायुक्त पद से कार्यकाल पूरा हुआ है। उनको पेंशन के साथ पूरा वेतन भी मिला है। लेकिन बिल पास होने के बाद नए लोकपाल को पेंशन की राशि काटकर ही वेतन दिया जाएगा।
केंद्रीय लोकपाल में यह प्रावधान पहले से ही है। पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट के एडवोकेट हेमंत ने बताया कि हरियाणा में लोकायुक्त का कार्यकाल पूरा होने के बाद इस पद की पेंशन का भी प्रावधान है, जोकि केंद्र में नहीं है।
वर्तमान सरकार संसद द्वारा बनाए गए लोकपाल एवं लोकायुक्त कानून, 2013 की धारा-7 की तर्ज पर ही उपरोक्त कानूनी संशोधन करने जा रही है। केंद्र सरकार द्वारा नियुक्त लोकपाल के चेयरपर्सन और अधिकतम 8 सदस्यों को मिलने वाले वेतन में से भी उनकी पिछली सरकारी सेवा के आधार पर प्राप्त हो रही पेंशन राशि, यदि हो, तो उसे घट दिया जाता है।