Faridabad/Alive News: राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण की सलाहकार कमेटी ने फरीदाबाद नगर निगम में कूड़ा निस्तारण की समीक्षा करते हुए निर्देश दिए कि जिले में प्रतिदिन 50 किलो से अधिक कूड़ा पैदा करने वाले संस्थानों को एक महीने में अपने आप कूड़ा निस्तारण करना होगा। नगर निगम या इकोग्रीन ऐसे संस्थानों का कूड़ा नहीं उठाएगी। सभी को कचरा निस्तारण की छोटी मशीने लगानी होगी।
आपको बता दे कि जिले में ऐसे पांच हजार से अधिक संस्थान हैं, जहां 50 किलो से अधिक कूड़ा उत्पादित होता है। एनजीटी कमेटी के अध्यक्ष ने कहा कि जिले में कूड़ा नहीं उठाने और गंदगी संबंधी शिकायतें लगातार पोर्टल पर मिल रही है। शहर में कूड़ा निस्तारण समुचित व्यवस्था नहीं की गई है। इसके मद्देनजर नगर निगम अधिकारियों ने एक सप्ताह में सभी तैयारियां को फिर से एनजीटी के साथ साझा करने का आश्वासन दिया है।
इस संबंध में नगर निगम की आयुक्त डॉ. गरिमा मित्तल शुक्रवार को इकोग्रीन के खत्तों और ट्रांसफर केंद्रों का निरीक्षण करेंगी तथा कचरा पैदा करने वाले होटल, रेस्टोरेंट, मैरिज पैलेस, ढाबे, अस्पताल, स्कूल, कॉलेज, आवासीय समितिया या औद्योगिक इकाई आदि को अब अपने परिसर में ही ऑनसाइट कम्पोस्टिग की व्यवस्था करनी होगी। इसके तहत ठोस कचरा निस्तारण नियमों का सख्ती से लागू करवाया जाएगा।
पचास किलो से अधिक कूड़े वाले संस्थानों से नियमों को सख्ती से लागू कराया जाएगा। इन सभी को कचरा निस्तारण की छोटी मशीने लगानी होगी। इन संस्थानों को आधुनिक तकनीक से युक्त जैविक अपशिष्ट परिवर्तित सयंत्र लगाने होंगे। जिनमें 500 किलोग्राम कूड़ा करीब 90 किलोग्राम खाद में परिवर्तित हो सकता है। अगर नियमों की अनदेखी की गई तो कार्रवाई की जाएगी।
जानकारी के मुताबिक शहर में प्लास्टिक का उपयोग रोका जाएगा। इसके लिए संबंधित शाखा के अधिकारियों को जरुरी दिशा निर्देश दिए हैं। कमेटी से मिले दिशा-निर्देशों के तहत कूड़ा निस्तारण के उपाए किए जाएंगे। इसके मद्देनजर शुक्रवार को कई जगहों का वह निरीक्षण करेंगी।