November 19, 2024

Ambala : वायु प्रदूषण बढ़ने के कारण नवजात बच्चों को हो रही है सांस लेने में दिक्कत

वायू प्रदूषण के बढ़ने से अंबाला के नवजात बच्चों को हो रही है परेशानी

Delhi/Alive News : वायु प्रदूषण बढ़ने की वजह से जवानों के साथ साथ नवजातों को भी सांस की परेशानी हो रही है। रोजाना एनआईसीयू वार्ड में 100 से 150 नवजात उपचार के लिए आते हैं।

एनआईसीयू वार्ड में रोजाना 5 से 10 नवजात ऐसे आ रहे हैं, जिन्हें सांस लेने में परेशानी हो रही है। इसके साथ ही 30 से 40 नवजातों में खांसी, बुखार की परेशानी हो रही है। वहीं नवजातों में हाइपोथर्मिया के मामले भी आने लग गए हैं। चिकित्सकाें का कहना है कि नवजात बच्चों का ठंड में विशेष ध्यान रखना चाहिए। इसके साथ ही जरूरी होने पर ही घर से बाहर लेकर जाएं।

एक वर्ष के बच्चों को भी हो रहा डेंगू
सिटी नागरिक अस्पताल में रोजाना 200 से अधिक मरीज सिर्फ बुखार के उपचार के लिए ही आ रहे हैं। इतना ही नहीं कई एक वर्ष के बच्चे भी डेंगू की चपेट में आते हैं। इन्हें एचडीयू यूनिट में भर्ती किया जाता है। जिन मरीजों को बुखार हो रहा है। उनमें प्लेटलेट्स भी घट रहे हैं। इस प्रकार के मरीजों को संदिग्धता के आधार पर भर्ती किया जा रहा है। अचानक ठंडक बढ़ने से ही मरीजों का आंकड़ा इतना बढ़ गया है। बच्चों को भी डेंगू हो रहा है। एक-

दो दिन बाद आए चार डेंगू के मामले
जिला अंबाला में शनिवार के बाद सोमवार को डेंगू के चार नए मामले सामने आए हैं। इसके बाद जिले में डेंगू का आंकड़ा 172 हो गया है। हालांकि ठंड बढ़ने के कारण भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या कुछ कम जरूर हुई है। लेकिन दिसंबर के पहले सप्ताह तक खतरा बना हुआ है। तापमान कम होने पर डेंगू का मच्छर जीवित नहीं रह पाता।

नवजातों को सही से दूध पिलाना जरूरी
डॉ मनीष ने बताया कि बच्चे को ठंड लगने या फिर बुखार होने पर मां का दूध सही तरीके से पिलाएं। बच्चे को समय-समय पर कुछ खिलाते रहें। मां का दूध भी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मदद करता है। ठंड के दिनों में बच्चे को तेल से मालिश भी कर सकते हैं। ठंड में निकलने से पहले बच्चे को गर्म कपड़े पहनाकर ही निकले। अचानक लगी ठंड से बच्चे को हाइपोथर्मिया भी हो सकता है।